एनसीपी में आगे की राजनीति में कुछ बहुत दिलचस्प होने वाला है और इस दौरान शरद पवार के परिवार के उभरते हुए सितारे रोहित पवार पर नजर रखने की जरूरत है। वे शरद पवार के भाई के पोते हैं और पिछले चुनाव में वे विधानसभा का चुनाव जीते। उससे पहले अजित पवार के बेटे पार्थ पवार चुनाव हार गए थे। उसके बाद से परिवार के अंदर बहुत खींचतान हुई थी, जो अभी तक चल रही है। पार्टी संगठन में रोहित को बड़ी भूमिका मिलेगी। अगर शरद पवार इस्तीफा वापस लेकर अध्यक्ष बने रहते हैं तो दो कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त होंगे, जिसमें एक रोहित पवार हो सकते हैं। अगर कोई दूसरा अध्यक्ष बनता है तब भी रोहित के कार्यकारी अध्यक्ष बनने की संभावना है।
अजित पवार को पार्टी का अध्यक्ष बनाए जाने को लेकर संशय है। वे पहले से विधायक दल के नेता और महाराष्ट्र विधानसभा में नेता विपक्ष हैं। सुप्रिया सुले को पवार शायद अभी अध्यक्ष नहीं बनाएं। वे लोकसभा में एनसीपी की नेता हैं। पार्टी के दो पुराने बड़े नेता प्रफुल्ल पटेल और छगन भुजबल अपनी तमाम निष्ठा के बावजूद इसलिए अध्यक्ष नहीं बनेंगे कि वे मराठा नहीं हैं। एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष जितेंद्र पाटिल का नाम संभावितों में शामिल है। उनके प्रति शरद पवार का भी सद्भाव है। अगर वे राष्ट्रीय अध्यक्ष बनेंगे तब संभव है कि रोहित पवार को प्रदेश अध्यक्ष बनाया जाए। जानकार सूत्रों का कहना है कि शरद पवार अपनी आंखों के सामने पार्टी में अजित पवार से इतर नया नेतृत्व स्थापित करेंगे, जो सुप्रिया सुले के प्रति निष्ठावान होगा। जब तक ऐसा नहीं होगा, तब तक शरद पवार पार्टी की कमान अपने हाथ में रखेंगे।