दिल्ली से सटे गुरुग्राम के सांसद और केंद्रीय राज्य मंत्री राव इंद्रजीत सिंह पिछले दिनों हरियाणा के अहिरवाल इलाके में दौरे पर थे, जहां उन्होंने एक बड़ी मार्मिक बात कही। अपने जुलूस में शामिल लोगों से राव इंद्रजीत सिंह ने पूछा कि क्या कोई नेता ऐसा है, जो 2004 में भी केंद्रीय राज्य मंत्री रहा हो और 20 साल बाद 2024 में भी राज्य मंत्री ही हो? खुद ही इसका जवाब देते हुए उन्होंने कहा वे अकेले ऐसे नेता हैं, जो 20 साल से एक ही पद पर हैं कोई तरक्की नहीं हुई है। गौरतलब है कि राव इंद्रजीत सिंह अहिरवाल के बड़े नेता हैं और अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार में राज्य मंत्री थे। 2014 में केंद्र में नरेंद्र मोदी की पहली सरकार बनने पर वे राज्य मंत्री बने थे और तब से अभी तक वे राज्य मंत्री हैं। उन्होंने कहा कि वे छह बार लोकसभा का चुनाव जीते हैं और चार बार मंत्री बने हैं लेकिन राज्य मंत्री ही रहे हैं।
ध्यान रहे भाजपा ने हरियाणा में होने वाले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के जाट, दलित और मुस्लिम के सामाजिक समीकरण के मुकाबले पिछड़ा, पंजाबी, ब्राह्मण और यादव का समीकरण बनाया है। इसी समीकरण के तहत पिछड़े समाज के नायब सिंह सैनी को मुख्यमंत्री, ब्राह्मण समाज के मोहन लाल बडौली को प्रदेश अध्यक्ष, पंजाब समुदाय के मनोहर लाल और यादव समाज के राव इंद्रजीत सिंह को केंद्र में मंत्री बनाया गया है। भाजपा उम्मीद कर रही है कि राव इंद्रजीत सिंह के जरिए उसको अहिरवाल के इलाके में फायदा होगा। लेकिन जिस तरह से उन्होंने जनता के सामने खुल कर अपनी पीड़ा जाहिर की है उससे यादव मतदाताओं में अच्छा मैसेज नहीं गया है। लेकिन दिक्कत यह है कि भाजपा अभी इसे तुरंत ठीक भी नहीं कर सकती है।