कांग्रेस कई राज्यों में सीट बंटवारे पर बातचीत कर रही है लेकिन अभी तक झारखंड को लेकर औपचारिक बातचीत नहीं हुई है। कांग्रेस की नेशनल एलायंस कमेटी जल्दी ही झारखंड में सीट बंटवारे की बातचीत करने वाली है। हालांकि राज्य में मुख्यमंत्री से ईडी की पूछताछ और सीएम बदले जाने को लेकर चल रहे ड्रामे की वजह से सीट बंटवारे पर बातचीत में कुछ और समय लग सकता है। इस बीच खबर है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन अपनी पार्टी झारखंड मुक्ति मोर्चा के लिए सात सीटें मांग रहे हैं। कांग्रेस के नेता इससे चिंतित हैं। उनको इस बात की भी चिंता है कि हेमंत सोरेन राज्यसभा की सीट भी कांग्रेस के लिए नहीं छोड़ रहे हैं।
बताया जा रहा है कि उन्होंने विधानसभा से इस्तीफा देने वाले सरफराज अहमद को राज्यसभा सीट का वादा किया है। हेमंत सोरेन सात सीटें मांग रहे हैं उसमें कांग्रेस के लिए ज्यादा चिंता की बात यह है कि वे कांग्रेस की कई मजबूत सीटों पर भी नजर गड़ाए हुए हैं। कांग्रेस पिछली बार चाईबासा सीट पर जीती थी। इस बार जेएमएम का कहना है कि अगर कांग्रेस सांसद गीता कोड़ा भाजपा में जाती हैं तो वह सीट जेएमएम लड़ेगी। इसी तरह लोहरदगा सीट पर कांग्रेस सिर्फ 10 हजार वोट से हारी थी। इस बार जेएमएम की नजर उस सीट पर भी है। विधानसभा में सबसे बड़ी पार्टी होने के नाम पर जेएमएम ज्यादा लोकसभा सीट लड़ना चाह रही है और उसका कहना है कि कांग्रेस अपने सात सीटों के कोटे से ही एक सीट राष्ट्रीय जनता दल को दे। तभी कांग्रेस के नेता इस गुत्थी को सुलझाने की चिंता में हैं।