बिहार और उत्तर प्रदेश बाहुबलियों की चुनावी राजनीति के लिए जाना जाता है। इस बार भी लोकसभा चुनाव में बिहार में ढेर सारे बाहुबली मैदान में उतरे हैं लेकिन फर्क यह है कि इस बार ने खुद चुनाव नहीं लड़ रहे हैं, बल्कि उनकी पत्नियां चुनाव मैदान में हैं। इसका कारण यह है कि ज्यादातर बाहुबली या तो सजायाफ्ता हैं या आम लोगों के बीच धारणा को लेकर पीछे हट गए हैं। कुछ बाहुबलियों की पत्नियां पहले भी लोकसभा का चुनाव लड़ी हैं लेकिन कुछ तो बिल्कुल नई हैं और पहली बार चुनाव लड़ रही हैं। इसमें सबसे दिलचस्प किस्सा अशोक महतो का है।
वे मगध और शाहाबाद के इलाके में लंबे समय तक चले गैंगवार का हिस्सा रहे हैं। वे लंबे समय तक जेल में रहे हैं और कुछ समय पहले नेटफ्लिक्स पर मशहूर हुए ‘खाकी’ सीरिज उनके किरदार को लेकर बनी थी। वे सजायाफ्ता हैं और चुनाव नहीं लड़ सकते हैं तो लालू यादव के कहने पर उन्होंने पिछले महीने यानी मार्च में 62 साल की उम्र में आनन-फानन में शादी की और उनकी पत्नी अनिता देवी को राजद ने मुंगेर से चुनाव में उतारा है। गौरतलब है कि मुंगेर से जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे ललन सिंह चुनाव लड़ रहे हैं।
बिहार में गोपालगंज के कलेक्टर रहे जी कृष्णैया की हत्या के मामले में उम्र कैद की सजा काट कर जेल से रिहा हुए आनंद मोहन की पत्नी लवली आनंद शिवहर लोकसभा सीट से चुनाव लड़ रही हैं। वे पहले सांसद रह चुकी हैं। सीमांचल के इलाके में चर्चित रहे अवधेश मंडल की पत्नी बीमा भारती को राष्ट्रीय जनता दल ने पूर्णिया सीट से मैदान में उतारा है। वे पहले जनता दल यू में थीं और रूपौली विधानसभा सीट से पार्टी की विधायक थीं। लेकिन जनवरी में विश्वास मत पर हुए विवाद के बाद से वे नाराज थीं और उन्होंने जदयू से इस्तीफा देकर राजद की टिकट ली है। इस सीट पर पप्पू यादव तैयारी कर रहे थे, जिसकी वजह से यह सीट गठबंधन में उलझी हुई है। इसी तरह राजद की टिकट पर वैशाली सीट से मुन्ना शुक्ला की पत्नी के चुनाव लड़ने की चर्चा है।
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