वाशिंगटन। अमेरिका में राष्ट्रपति चुनाव से पहले बड़ी घटना हुई है। एक चुनावी रैली के दौरान अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति और इस बार के चुनाव में रिपब्लिकन पार्टी के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रम्प के ऊपर फायरिंग हुई। उनके दाएं कान पर गोली लगी है, लेकिन वे सुरक्षित हैं। उन्हें अस्पताल से छुट्टी मिल गई है। हमले के बाद पहली प्रतिक्रिया में ट्रम्प ने घटना पर हैरानी जताते हुए कहा कि अमेरिका में इस तरह की घटना होनी दुर्भाग्यपूर्ण है। उन्होंने अमेरिका के लोगों से एक रहने की अपील भी की। घटना की जांच कर रही एफबीआई ने इसे ट्रम्प को जान से मारने का प्रयास बताया है।
घटना भारतीय समय के मुताबिक रविवार सुबह चार बजे की है। तब अमेरिका में शनिवार के शाम करीब साढ़े छह बज रहे थे। ट्रम्प अमेरिका के पेंसिल्वेनिया राज्य के बटलर शहर में चुनावी रैली कर रहे थे। रैली में भीड़ थी और मंच पर ट्रम्प के आने के तुरंत बाद उन पर गोली चली। उनके भाषण शुरू करने के साथ ही गोली चलने की आवाज आई। उनके ऊपर हमले का जो वीडियो सामने आया है उसमें ट्रम्प झुकते दिखाई दे रहे हैं। उन्होंने दाहिने हाथ से अपना कान पकड़ा, जहां से खून निकलता दिखाई दे रहा है।
ट्रम्प के झुकते ही सीक्रेट सर्विस के अधिकारियों ने उनको अपने घेरे में ले लिया और वहां से बाहर ले गए। इस दौरान ट्रम्प कान और खून से सने चेहरे के साथ दाईं मुट्ठी भींचते हुए कुछ कहने की कोशिश करते दिखाई दे रहे हैं। ट्रम्प पर हमला करने वाले को सुरक्षाकर्मियों ने वही मार गिराया। गोलीबारी में रैली में मौजूद दो लोग गंभीर रूप से घायल हुए। पेंसिल्वेनिया पुलिस ने बताया कि ट्रम्प पर करीब चार सौ फीट दूर मौजूद इमारत की छत से फायरिंग की गई। असॉल्ट राइफल एआर 15 राइफल से आठ राउंड गोलियां चलाई गईं। पहले राउंड में तीन और दूसरे राउंड में पांच गोलियां चलीं।
पुलिस ने बताया है कि संदिग्ध शूटर मारा गया है। उसकी उम्र 20 साल थी और वो ट्रम्प की ही रिपब्लिकन पार्टी का समर्थक था। अब तक हमले के मकसद की जानकारी नहीं है। गौरतलब है कि अमेरिका में 18 साल से ज्यादा उम्र का कोई भी व्यक्ति हथियार खरीद सकता है। ट्रम्प खुद हथियार की खुली बिक्री के समर्थक हैं। उन्होंने कहा भी है कि सरकार में आने के बाद वे बाइडेन प्रशासन की ओर से लगाई गई पाबंदियां हटाएंगे। बहरहाल, अमेरिका की जांच एजेंसी एफबीआई ने बताया है कि हमलावर थॉमस मैथ्यू क्रूक्स के वोटर आई कार्ड से पता चला है कि वो ट्रम्प की ही रिपब्लिकन पार्टी से था। हालांकि उसने बाइडेन की डेमोक्रेटिक पार्टी से जुड़े एक ग्रुप को 15 डॉलर का चंदा भी दिया था। गौरतलब है कि अमेरिका में इस साल नवंबर में राष्ट्रपति का चुनाव होने वाला है।