नई दिल्ली। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में वायु प्रदूषण का स्तर लगातार दूसरे दिन खतरनाक स्तर पर बना हुआ है। इससे पहले कई दिनों से दिल्ली की हवा की गुणवत्ता गंभीर श्रेणी में थी। लेकिन सोमवार और मंगलवार को यह खतरनाक स्तर पर पहुंच गई। मंगलवार सुबह सात बजे दिल्ली के कई इलाकों में वायु गुणवत्ता सूचकांक यानी एक्यूआई पांच सौ रिकॉर्ड किया गया। दिल्ली का औसत एक्यूआई 494 रिकॉर्ड किया गया, जो इस बार सर्दियों में सबसे अधिक है।Pollution in Delhi
इस तरह मंगलवार को राजधानी दिल्ली में सीजन की सबसे खराब हवा रही। वायु गुणवत्ता खतरनाक श्रेणी में जाने के बाद दिल्ली और एनसीआर के 10वीं तक के स्कूल पहले ही ऑनलाइन कर दिए गए थे। सोमवार को सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद मंगलवार से 11वीं और 12वीं की कक्षाएं भी ऑनलाइन चलाने का आदेश दे दिया गया। दिल्ली यूनिवर्सिटी, जेएनयू और जामिया के कॉलेजों की कक्षाएं चार दिन तक वर्चुअल मोड पर चलेंगी।
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गौरतलब है कि बढ़ते प्रदूषण को देखते हुए कमीशन फॉर एयर क्वालिटी मैनेजमेंट, सीएक्यूएम ने 18 नवंबर से दिल्ली और एनसीआर में ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान यानी ग्रैप की चौथा चरण लागू कर दिया है। बच्चों, बुजुर्गों, सांस और दिल के मरीजों, पुरानी बीमारियों से पीड़ितों को घर के अंदर रहने की सलाह दी गई है। मंगलवार की सुबह धुंध के कारण विजिबिलिटी काफी कम रही, जिससे ईस्टर्न पेरिफेरल एक्सप्रेस वे पर एक बड़ा हादसा हुआ, जिसमें दो लोगों की जान चली गई।
इस बीच दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने केंद्र सरकार को चिट्ठी लिखकर कृत्रिम बारिश करवाने की मांग की है। राय ने केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव से कहा है कि Pollution in Delhi बेहद गंभीर श्रेणी में है और इससे निपटने के लिए कृत्रिम बारिश कराने की जरूरत है। यह मेडिकल इमरजेंसी है।