नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी ने यह सवाल उठाया है कि केंद्र सरकार ‘एक देश, एक चुनाव’ का बिल कैसे पास कराएगी। शुक्रवार को शीतकालीन सत्र के आखिरी दिन कांग्रेस के मीडिया प्रभारी जयराम रमेश ने तंज करते हुए कहा कि सरकार बिल पेश करते समय 272 का साधारण बहुमत नहीं जुटा पाई तो वह बिल पास कराने के लिए 362 सांसदों का समर्थन कहां से लाएगी? इस बीच शुक्रवार को ‘एक देश, एक चुनाव’ पर बनी जेपीसी में शामिल करने के लिए राज्यसभा के 12 सदस्यों के नामों को मंजूरी दे दी गई।
जेपीसी में 39 सदस्य होंगे, जिसमें 27 लोकसभा के और 12 राज्यसभा के हैं। भाजपा के सांसद पीपी चौधरी को इसका अध्यक्ष बनाया गया है। राज्यसभा के सदस्यों में कांग्रेस की ओर से रणदीप सुरजेवाला और मुकुल वासनिक को रखा गया है।
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तृणमूल कांग्रेस के साकेत गोखले और आम आदमी पार्टी के संजय सिंह भी इस कमेटी के सदस्य होंगे। जनता दल यू के संजय झा भी इस कमेटी में शामिल किए गए हैं। राज्यसभा के 12 सदस्यों को नामित करने का प्रस्ताव राज्यसभा में ध्वनिमत से मंजूर किया गया था।
इससे पहले कांग्रेस के जयराम रमेश ने साफ कर दिया है कि बिल भले ही जेपीसी के पास भेजा गया, लेकिन कांग्रेस इसका विरोध करती है। उन्होंने कहा- केंद्र सरकार बिल पेश करते समय 272 सांसद भी नहीं जुटा पाई थी। संविधान संशोधन के लिए उन्हें दो तिहाई बहुमत कैसे मिलेगा। उन्होंने इसका विरोध करते हुए कहा कि ये बिल संविधान की मूल संरचना, संघीय व्यवस्था और लोकतंत्र विरोधी है। कांग्रेस जेपीसी में भी इस बिल का विरोध करेगी।