इंफाल। मणिपुर के दो दो दिन के दौरे पर पहुंचे कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने दौरे के दूसरे दिन शुक्रवार को हिंसा प्रभावित क्षेत्रों में जाकर दो राहत शिविरों का दौरा किया। वे बिष्णुपुर जिले के मोइरांग शहर में दो राहत शिविरों में गए। वहां उन्होंने हिंसा प्रभावित लोगों से बात की और राहत शिविर में रह रहे छोटे बच्चों से भी मिले। राहुल ने इस दौरान वहां काम कर रहे सिविल सोसायटी के लोगों से भी मुलाकात की। राहुल गांधी ने राज्यपाल अनुसुइया उइके से भी मुलाकात की।
राहुल गांधी दो दिन का दौरा पूरा करके शुक्रवार को दिल्ली लौट गए। इससे पहले मोइरांग राहत शिविर में हिंसा प्रभावितों से मुलाकात के बाद उन्होंने कहा- मणिपुर को शांति की जरूरत है। मैं चाहता हूं कि यहां शांति बहाल हो। मैंने कुछ राहत शिविरों का दौरा किया, इन राहत शिविरों में कमियां हैं, सरकार को इसके लिए काम करना चाहिए। मीडिया से बात करते हुए उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बारे में पूछे गए सवालों का जवाब टाल दिया। उन्होंने पहले भी कहा था कि वे चाहते हैं कि राज्य में शांति बहाल हो।
इससे पहले राहुल गांधी सुबह करीब साढ़े नौ बजे हेलीकॉप्टर से मोइरांग पहुंचे थे। उन्होंने यहां प्रभावित लोगों से मुलाकात की और उनकी तकलीफ सुनी। बताया जा रहा है कि जिन दो शिविरों को राहुल ने दौरा किया, वहां करीब एक हजार लोग रह रहे हैं। राहुल गांधी के साथ मणिपुर के पूर्व मुख्यमंत्री ओकराम इबोबी सिंह, पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल, पीसीसी अध्यक्ष कीशम मेघचंद्र सिंह और राज्य के प्रभारी डॉ. अजय कुमार भी थे। राहुल ने ने अपनी यात्रा के पहले दिन गुरुवार को चूराचांदपुर में राहत शिविरों का दौरा किया था, जो जातीय दंगों से सबसे ज्यादा प्रभावित शहरों में से एक है। राहुल सड़क के रास्ते चूराचांदपुर जा रहे थे पर पुलिस ने उनको रोक दिया। उसके बाद वे सरकारी हेलीकॉप्टर से वहां गए।