नई दिल्ली। डेढ़ साल से ज्यादा समय से जातीय हिंसा से प्रभावित मणिपुर में नए सिरे से हिंसा भड़कने के बाद केंद्र सरकार ने छह इलाकों में फिर से सशस्त्र बल विशेषाधिकार कानून यानी आफस्पा लागू करने का फैसला किया है। केंद्र ने मणिपुर के पांच जिलों के छह थानों में इसे फिर से लागू कर दिया है। यह 31 मार्च 2025 तक प्रभावी रहेगा। गृह मंत्रालय ने गुरुवार को इसका आदेश जारी किया। मंत्रालय ने कहा कि इन इलाकों में बिगड़ती सुरक्षा स्थिति के चलते फैसला किया गया।
आफस्पा लागू होने से सेना और अर्ध सैनिक बलों को कई अधिकार मिल जाएंगे। वे इन इलाकों में कभी भी किसी को भी पूछताछ के लिए हिरासत में ले सकते हैं। इन जगहों पर सुरक्षा बल बिना वारंट के किसी को भी गिरफ्तार कर सकते हैं। कई मामलों में बल प्रयोग भी हो सकता है। गृह मंत्रालय के आदेश में इम्फाल पश्चिम जिले का सेकमई और लमसांग, इम्फाल पूर्व जिले का लाम्लाई, जिरीबाम जिले का जिरीबाम, कांगपोकपी का लेइमाखोंग और बिष्णुपुर जिले का मोइरंग थाना शामिल है। गौरतलब है कि पिछले दिनों उग्रवादियों ने एक थाने और सीआरपीएफ की पोस्ट पर हमला करने का प्रयास किया था, जिसमें 10 उग्रवादी मारे गए थे। बाद में दो नागरिकों के शव मिले थे और छह लोग लापता हैं। बहरहाल, छह नए इलाकों में आफस्पा लागू करने के सरकार के आदेश के बाद अब मणिपुर के सिर्फ 13 इलाके ही आफ्स्पा से बाहर हैं।