चंडीगढ़। डेरा सच्चा सौदा के प्रमुख और दो साध्वियों से बलात्कार के दोषी गुरमीत राम रहीम के लिए अब पैरोल हासिल करना मुश्किल हो गया है। राम रहीम को बार बार पैरोल दिए जाने के मामले में पंजाब व हरियाणा हाई कोर्ट ने नाराजगी जताई है और हरियाणा की खट्टर सरकार को फटकार लगाई है। Parole To Ram Rahim
हाई कोर्ट ने गुरुवार को कहा है कि भविष्य में बिना अदालत की इजाजत के राम रहीम को पैरोल न दी जाए। गौरतलब है कि राम रहीम को पिछले सवा तीन साल में नौ बार पैरोल या फरलो मिली है।
राम रहीम को मिली मौजूदा पैरोल 10 मार्च को समाप्त हो रही है। हाई कोर्ट ने उसी दिन ही राम रहीम को सरेंडर करने को कहा है। मामले में अगली सुनवाई 13 मार्च को होगी।
हाई कोर्ट ने सुनवाई के दौरान हरियाणा सरकार से पूछा कि राज्य सरकार बताए कि डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम की तरह और कितने कैदियों को इसी तरह से पैरोल दी गई है? हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार से जानकारी मांगी है।
गौरतलब है कि गुरमीत राम रहीम को दी जा रही पैरोल को शिरोमणी गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी यानी एसजीपीसी ने पंजाब व हरियाणा हाई कोर्ट में चुनौती दी थी। एसजीपीसी का कहना था कि डेरा सच्चा सौदा प्रमुख राम रहीम के खिलाफ कई संगीन मामले दर्ज हैं। इनमें उसे दोषी करार दिए जाने के बाद सजा भी सुनाई जा चुकी है।
इसके बावजूद हरियाणा सरकार उसे बार बार पैरोल दे रही है। राम रहीम को अपनी दो शिष्याओं के साथ बलात्कार का दोषी पाया गया है। उसे 20 साल की जेल की सजा हुई है। डेरा प्रमुख को चार अन्य लोगों के साथ डेरा प्रबंधक रणजीत सिंह की हत्या की साजिश रचने के लिए भी 2021 में दोषी ठहराया गया था। डेरा प्रमुख और तीन अन्य को इस केस में 16 साल की जेल हुई है।