नई दिल्ली। भारतीय नौसेना के पूर्व अधिकारी कुलभूषण जाधव को अगवा करने में मदद करने वाले मुफ्ती शाह मीर की पाकिस्तान के बलूचिस्तान में हत्या कर दी गई है। उसे शुक्रवार रात अज्ञात बंदूकधारियों ने गोली मार दी। मुफ्ती मीर ने ईरान से कुलभूषण जाधव को अगवा करने में पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई की मदद की थी। बताया जा रहा है कि शुक्रवार रात को नमाज के बाद वह मस्जिद से बाहर निकल रहा था। तभी बाइक सवार हमलावरों ने घात लगाकर उस पर हमला कर दिया और कई गोली मारी।
पाकिस्तानी अखबार ‘डॉन’ की रिपोर्ट के मुताबिक गोली लगने के बाद उसे अस्पताल ले जाया गया था, जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। यह भी खबर है कि मुफ्ती मीर मानव तस्करी और हथियारों की तस्करी में शामिल रहा है। वह इस्लामिक कट्टरपंथी पार्टी जमीयत उलेमा ए इस्लाम का सदस्य था। गौरतलब है कि पाकिस्तानी सेना ने तीन मार्च 2016 को बताया था कि उसने कुलभूषण जाधव को बलूचिस्तान प्रांत से गिरफ्तार किया था। पाकिस्तान ने कुलभूषण पर जासूसी और देशविरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया था।
दूसरी ओर भारत ने कहा है कि पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों ने जाधव को ईरान से अगवा किया। जाधव नौसेना से रिटायर होने के बाद ईरान में कारोबार कर रहे थे। जाधव पर पाकिस्तान की सैन्य अदालत में मुकदमा चलाया गया था। 10 अप्रैल 2017 को सैन्य अदालत ने उन्हें जासूसी, आतंकवाद और देशविरोधी गतिविधियों के आरोप में मौत की सजा सुनाई थी। भारत ने इस फैसले की कड़ी निंदा करते हुए कहा था कि इस मामले में पारदर्शिता नहीं बरती गई। जाधव अभी पाकिस्तान की जेल में बंद हैं और उनका मामला अंतरराष्ट्रीय अदालत में है।