lord sahastrabahu

  • पुराणों के महानायक सहस्रार्जुन

    कार्तवीर्य सहस्रार्जुन बहुत लोक प्रिय सम्राट थे। विश्व भर के राजा महाराजा मांडलिक, मंडलेश्वर आदि सभी अनुचर की भांति सम्राट सहस्रार्जुन के दरबार में उपस्थित रहते थे। उनकी अपार लोकप्रियता के कारण प्रजा उनको देवतुल्य मानती थी। उनके जन्म कथा के महात्म्य के संबंध में मत्स्य पुराण के 43 वें अध्याय के 52वें श्लोक में कहा गया है-  जो प्राणी सुबह-सुबह उठ कर श्री कार्तवीर्य सहस्त्रबाहु अर्जुन का स्मरण करता है उसके धन का कभी नाश नहीं होता है। 8 नवंबर- सहस्त्रबाहु जयंती पौराणिक कथानुसार प्राचीन काल में एक चंद्रवंशी राजा ययाति की दो रानियां थी- प्रथम भार्गव ऋषि शुक...