Foreign policy

  • बिना पड़ोसी दोस्त के भारत!

    कहने को भारत आज महाशक्ति है। लेकिन दक्षिण एशिया में अपने पड़ौस में भी छोटे बड़े सभी देश भारत से छिटके हुए है। नेपाल जैसे छोटा और पारंपरिक दोस्त देश भी भारत विरोधी राजनीति का गढ़ है। सोचें, जिस देश के साथ तमाम धार्मिक और सांस्कृतिक संबंध हों और जिस देश के गांव गांव में भारत के लोगों के सामाजिक संबंध हों वह देश भारत विरोधी गतिविधियों का अड्डा बन जाए और कूटनीति के जरिए इसे नहीं संभाला जा सके तो इसे क्या कहा जाएगा? पिछले ही दिनों चीन में पुष्प कमल दहल प्रचंड की सरकार चली गई और चीन...

  • मोदी ने पहले की विदेश नीति की आलोचना की

    वारसॉ। पोलैंड के दौरे पर आए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पहले की सरकारों की गुट निरपेक्षता की नीति की आलोचना की। उन्होंने कहा कि पहले की सरकारें सबसे दूरी बनाने की नीति पर चलती थीं, लेकिन आज का भारत सबके साथ करीबी रिश्ते बना कर रखता है। बुधवार को देर रात प्रवासी भारतीयों के समूह को संबोधित करते हुए मोदी ने यह बात कही। इसके बाद गुरुवार को प्रधानमंत्री का औपचारिक स्वागत हुआ और पोलैंड के प्रधानमंत्री के साथ मोदी ने दोपक्षीय वार्ता की, जिसके बाद उनका यूक्रेन रवाना होने का कार्यक्रम है। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार...

  • नकारा डोवाल, फेल जयशंकर!

    कटु शब्द है लेकिन बांग्लादेश की असफलता, उसके फियोस्को में भारत के नुकसान के मायनों में एकदम सही बात। यदि ये दो कर्ता-धर्ता जिम्मेवार नहीं है तो कौन है? ये दोनों वैसे ही साबित होते हुए है जैसे हसीना सरकार के ताश के पत्तो जैसे ढहे और अब भगौड़े (हालांकि एयरपोर्ट, सीमा पर पकडे गए) चेहरों याकि विदेश मंत्री हसन मेहमूद, जुनैद अहमद पालक, मोहिबुल हसन चौधरी, ताजुल इस्लाम आदि मंत्रियों-अफसरों को लेकर ढ़ाका में सोचा जा रहा होगा कि इन चेहरों से कैसे उस नेता की लुटिया डुबी जिसका कभी अच्छे दिन, अच्छे लोकतंत्र की साख से करिश्मा था।...

  • चुनाव में विदेश नीति कितना बड़ा मुद्दा?

    भाजपा ने भरोसा दिया है कि वह एक जिम्मेदार एवं भरोसेमंद पड़ोसी की भूमिका में 'नेबरहुड फर्स्ट' की नीति पर कायम रहेगी। दूसरी तरफ कांग्रेस ने भूटान से लेकर बांग्लादेश और श्रीलंका के साथ संबंधों में नई ताजगी लाने का वादा किया है। भारत के आम चुनाव में सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) लगातार तीसरी बार सरकार बनाने के प्रयास में जुटी है, तो मुख्य विपक्षी दल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस अपने दस साल के राजनीतिक वनवास को खत्म करने के लिए कमर कसे हुए है। दोनों प्रमुख दल जनता को लुभाने के लिए अपने-अपने दांव आजमा रहे हैं। इसी कड़ी...

  • मोदी सरकार की विदेश नीति किसके लिए?

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

  • थोड़े दिन की सुविधा

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

  • राहुल तो कभी माफी नहीं मांगेगे!

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

  • विदेश नीतिः भारत से चीन आगे क्यों ?

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

  • विदेश नीतिः दोनों से दोस्ती

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

  • फैसला तो लेना ही होगा

    हिरोशिमा में शिखर बैठक के दौरान रूस से होने वाले हीरे के निर्यात पर प्रतिबंध लगाने का फैसला हुआ।.. जी-7 शिखर बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पश्चिमी देशों के इस कदम पर एतराज नहीं जताया जबकि भारतीय हीरा उद्योग और उसके कारीगरों पर विनाशकारी असर होगा।...  निष्कर्ष है कि मोदी सरकार ने यूक्रेन युद्ध के दौर में जिस तरह भारतीय धनिक वर्गों के हितों को आगे बढ़ाया है, उसकी उम्मीद सूरत और दूसरी जगहों के हीरा कामगार नहीं कर सकते। यूरोपीय देश बैकडोर से तेल हासिल करने के लिए बेसब्र रहे हैं पर वैसी बेसब्री शायद हीरे के लिए...

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