Sunday

13-04-2025 Vol 19

लेख-स्तंभ

भारतः सब कैसा एक्स्ट्रीम!

भारतः सब कैसा एक्स्ट्रीम!

मैं भी इस भदेस सच्चाई से झनझना गया कि 140 करोड़ लोगों में 90 फीसदी लोग मासिक 25 हजार रुपए से नीचे की कमाई पर जी रहे हैं!
‘आदिपुरुष’ की विचित्र रामायण

‘आदिपुरुष’ की विचित्र रामायण

आदिपुरुष’का हल्ला बहुत हुआ। मगर फिल्म फिल्म दर्शकों में वह सम्मान नहीं जीत सकती जिसकी आकांक्षा में इसे बनाया गया है।
2024 में धर्म से ज्यादा एआई का खेला!

2024 में धर्म से ज्यादा एआई का खेला!

सूचना-प्रसारण मंत्रालय के डीएवीपी ने आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस/मशीनी दिमाग आधारित डिजिटल प्लेटफॉर्मों से सेवाएं देने के लिए इम्पैनल होने का प्रस्ताव देने का अनुरोध (आरएफपी) किया।
विपक्ष पाषाण युग में!

विपक्ष पाषाण युग में!

सोचें, नरेंद्र मोदी का अमेरिका में डंका बज रहा होगा तब नीतीश कुमार पटना में विपक्षी नेताओं को जात की राजनीति के कैसे मंत्र दे रहे होंगे?
एआई फैक्टरी में हिंदुत्व नंबर एक पर!

एआई फैक्टरी में हिंदुत्व नंबर एक पर!

लोकसभा चुनाव 2024 में हिंदुत्व का मुद्दा टॉप पर होगा। तैयारियां चल रही हैं। अयोध्या में भव्य राम जन्मभूमि मंदिर बन रहा है।
एआई से मोदी के लौह नेतृत्व का जयकारा

एआई से मोदी के लौह नेतृत्व का जयकारा

प्रधानमंत्री की विश्वगुरू वाली छवि के साथ साथ उनकी एक मजबूत और ईमानदार नेता की छवि भी उभारी जाएगी।
राष्ट्रवाद इस बार तीसरे नंबर पर

राष्ट्रवाद इस बार तीसरे नंबर पर

राष्ट्रवाद को भाजपा का सबसे बड़ा चुनावी एजेंडा मानने वाले कई लोग यह अनुमान भी लगा रहे हैं कि बुरी तरह से कमजोर पड़ रहे पाकिस्तान के खिलाफ कोई...
मुफ्त की रेवड़ियां भी बटेंगी

मुफ्त की रेवड़ियां भी बटेंगी

केंद्र सरकार पहले से कई वस्तुएं और सेवाएं लोगों को मुफ्त में दे रही है और हिमाचल व कर्नाटक के चुनाव नतीजों के बाद इनमें इजाफा किया जा सकता...
सावधान! ऊपरवाला देख रहा

सावधान! ऊपरवाला देख रहा

बिना हेलमेट के दुपहिया वाहन चलाता है या ऐसा कोई अन्य उल्लंघन करता है जो ट्रैफ़िक पुलिस के कैमरों में क़ैद हो जाता है। फिर अपने आप उसके घर...
इंसान को लील लेगी कृत्रिम बुद्धी (एआई)

इंसान को लील लेगी कृत्रिम बुद्धी (एआई)

कोई संदेह नहीं कि अनजाने ही एआई की तकनीक बहुत तेजी से विकसित हो गई है। अचानकवह आधुनिक जीवन के कई पहलुओं को बदल रही है।
सौगातों से सराबोर प्रदेश

सौगातों से सराबोर प्रदेश

कैसे भी हो सत्ता प्राप्ति के लिए हर वर्ग को खुश करने की कोशिश की जा रही है।
ड्रैगन (चीन) का सुनहरा समय!

ड्रैगन (चीन) का सुनहरा समय!

क्या नई विश्व व्यवस्था बनेगी? अमेरिकी गरूड़ की वैश्विक चौकीदारी क्या खत्म होगी? अमेरिका और पश्चिमी सभ्यता अंदरूनी कलह से कही बिखरने वाली तो नहीं?
लोकसभा चुनाव की इस साल रिहर्सल!

लोकसभा चुनाव की इस साल रिहर्सल!

इस साल के अंत में होने वाले पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव को राजनीतिक विश्लेषक अगले साल के लोकसभा चुनाव का सेमीफाइनल बता रहे हैं।
जैक डोरसी ने जो कहा

जैक डोरसी ने जो कहा

डोरसी को अब अभिव्यक्ति की आजादी का समर्थक मानना उन लोगों के लिए बहुत कठिन है, जो उनकी और ट्विटर की पृष्ठभूमि से परिचित हैं।