Monday

10-03-2025 Vol 19

बेबाक विचार

Main Stories, बेबाक विचार, editorial news from india’s best writer and journalists.

कराहते पाकिस्तानी, पर नेता बेफिक्र!

कराहते पाकिस्तानी, पर नेता बेफिक्र!

रमजान का पाक महीना चल रहा है लेकिन पाकिस्तानी मोहताज है खाने-पीने की चीजों के! पाकिस्तान अपने कर्ज न चुका पाने की स्थिति में पहुँच गया है।
हिंदुओं की भी किसे फिक्र?

हिंदुओं की भी किसे फिक्र?

रामनवमी के मौके पर मुस्लिम विरोधी तेवर कुछ इस कदर हावी हुए कि उसी रोज हिंदुओं के साथ क्या हुआ, इस बात पर सोचने की फिक्र किसी को नहीं...
ट्रंप पर मुकदमा, उनकी पौ बारह?

ट्रंप पर मुकदमा, उनकी पौ बारह?

डोनाल्ड ट्रंप वे पहले पूर्व राष्ट्रपति बने है, जिन पर आपराधिक केस दायर हुआ। उन्हे अमेरिका के ऐसे पहले राष्ट्रपति होने का तमगा भी हासिल है जिस पर दो...
मोदीजी, मेरी दुकान भी चला दीजिए!

मोदीजी, मेरी दुकान भी चला दीजिए!

मेरे पास जवाब नहीं है। इसलिए क्योंकि मैं वह सनातनी हिंदू हूं, जिसने लुटियन दिल्ली का सत्ता धर्म नहीं निभाया। मैंने चारण परंपरा नहीं निभाई।
डिग्री मांगना जुर्म है!

डिग्री मांगना जुर्म है!

गुजरात हाई कोर्ट का फैसला हैरान करने वाला है। यह तथ्य गौरतलब है कि प्रधानमंत्री की शैक्षिक डिग्री मांगने के मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल हाई कोर्ट...
मोदी की ‘दुकान’ में अमृतपाल का अर्थ?

मोदी की ‘दुकान’ में अमृतपाल का अर्थ?

अमृतपाल और अतीक अहमद के चेहरे भगवा ब्रांड की खरीदारी को कैसे चमकाए हुए हैं यह हम सब जानते है, सामान्य ज्ञान की बात है! 
मोदी का ‘पल’ तो अकाल तख्त, केजरीवाल, राहुल, ममता का भी मोमेंट!

मोदी का ‘पल’ तो अकाल तख्त, केजरीवाल, राहुल, ममता का भी मोमेंट!

जब राष्ट्रसत्ता और राजनीति खरीद फरोख्त की दुकान है तो स्वभाविक जो हर जात, हर धर्म, हर समूह अपने अस्तित्व की चिंता करे।
राहुल के लिए निर्णायक क्षण

राहुल के लिए निर्णायक क्षण

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिसे ‘द इंडिया मोमेंट्स’ कहा वह कांग्रेस नेता राहुल गांधी का भी मोमेंट बना है। अमृतकाल राहुल की राजनीति की भी निर्णायक घड़ी है।
भूटान आखिर क्यों छिटका?

भूटान आखिर क्यों छिटका?

क्या भूटान भी भारत से दूरी बना कर चीन के पाले में जा रहा है? यह सवाल वैसे अब जाकर चर्चित हुआ है, लेकिन ऐसे संकेत काफी समय से...
न्यायपालिका की फटकार

न्यायपालिका की फटकार

कभी न्यायिक टिप्पणियों को सरकार की जवाबदेही तय करने का एक प्रमुख माध्यम समझा जाता था।
ट्रंप जेल गए तो उनकी सियासी ताकत बढ़ेगी!

ट्रंप जेल गए तो उनकी सियासी ताकत बढ़ेगी!

आपने यह खबर जरूर सुनी होगी कि डोनाल्ड ट्रंप जेल जा सकते हैं। लेकिन आपको शायद यह पता नहीं होगा कि ऐसा उनके किस अपराध की वजह से हो...
हिंदुत्व की राजनीति का जवाब क्या है?

हिंदुत्व की राजनीति का जवाब क्या है?

नब्बे के दशक में जब राम जन्मभूमि का आंदोलन चरम पर था तब अक्सर कहा जाता था कि विपक्ष भाजपा से तो लड़ सकता है परंतु भगवान राम से...
मनरेगा मजदूरी का सवाल

मनरेगा मजदूरी का सवाल

महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी कानून (मनरेगा) मौजूदा सरकार की कभी प्राथमिकता नहीं रहा।
एकता का विकल्प नहीं

एकता का विकल्प नहीं

विपक्षी दलों में राष्ट्रीय स्तर पर अभी दिख रही एकजुटता आगे चल कर क्या शक्ल लेगी, इस बारे में अभी कुछ कहना जल्दबाजी होगी।
किसको हराने के लिए लड़ेगा विपक्ष?

किसको हराने के लिए लड़ेगा विपक्ष?

मानहानि के मामले में राहुल गांधी को सजा होने और लोकसभा की उनकी सदस्यता समाप्त होने के बाद विपक्ष में जो एकता दिखी है वह क्या राजनीतिक और चुनावी...
नेतन्याहू ने बांट दिया यहूदियों का दिल-दिमाग!

नेतन्याहू ने बांट दिया यहूदियों का दिल-दिमाग!

केवल एक व्यक्ति की सत्ता की लिप्सा ने इजराइल को अराजकता में धकेल दिया है।
रमजान में बदहाल पाकिस्तान

रमजान में बदहाल पाकिस्तान

पाकिस्तान सरकार के अधिकारियों का दावा है कि आईएमएफ से ऋण पाने के लिए उन्होंने उसकी शर्तों पर पूरा अमल किया है।
लोकतंत्र एक हथियार?

लोकतंत्र एक हथियार?

उठे कुछ गंभीर सवालों के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन का प्रिय आयोजन- लोकतंत्र शिखर सम्मेलन का दूसरा संस्करण शुरू हुआ है।
हमज़ा युसुफ, स्कॉटलैंड में पहले मुस्लिम प्रमुख

हमज़ा युसुफ, स्कॉटलैंड में पहले मुस्लिम प्रमुख

इतिहास में पहली बार ब्रिटेन, स्कॉटलैंड और आयरलैंड तीनों के सर्वोच्च नेता दक्षिण एशियाई मूल के हैं।
अयोग्यता कानून पर विचार की जरूरत

अयोग्यता कानून पर विचार की जरूरत

कांग्रेस नेता राहुल गांधी की लोकसभा से अयोग्यता की घटना ने सांसदों, विधायकों को अयोग्य बनाने वाले सुप्रीम कोर्ट के फैसले की फॉल्टलाइन्स को जाहिर किया है।
होंडुरास का पाला-बदल

होंडुरास का पाला-बदल

होंडुरास एक छोटा-सा देश है। सामान्य तौर पर उसकी कूटनीति या विदेश नीति संबंधी बदलाव पर दुनिया गौर नहीं करती।
और कोई रास्ता नहीं

और कोई रास्ता नहीं

अपनी राजनीति को नई शक्ल देने के अलावा कोई रास्ता नहीं है, तो कहा जा सकता है कि यहां से एक नई शुरुआत हो सकती है।
मसीहा नेतन्याहू के खिलाफ उठ खड़े हुए इजराइली!

मसीहा नेतन्याहू के खिलाफ उठ खड़े हुए इजराइली!

इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू देश-दुनिया में बदनाम और अलोकप्रिय हो गए हैं।
राहुल क्या आपदा को अवसर में बदल पाएंगे?

राहुल क्या आपदा को अवसर में बदल पाएंगे?

यह यक्ष प्रश्न है कि राहुल गांधी के ऊपर अभी जो आपदा आई है उसे वे अवसर में बदल सकते हैं या नहीं? राजनीतिक नजरिए से देखें तो यह...
संकट में इजराइली लोकतंत्र

संकट में इजराइली लोकतंत्र

इजराइल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने खुद पर चल रहे मुकदमों के असर अपने को बचाने की कोशिश की।
सत्ता का मद ठीक नहीं

सत्ता का मद ठीक नहीं

सत्ता पक्ष से जुड़ा कोई व्यक्ति भी इस बात के मुतमईन नहीं होगा कि राहुल गांधी को स्वतंत्र एवं निष्पक्ष प्रक्रिया के जरिए सदन निकाला दिया गया है।
हम हिंदू और रूसी एक से, तभी जैसे पुतिन वैसे मोदी!

हम हिंदू और रूसी एक से, तभी जैसे पुतिन वैसे मोदी!

रूसियों के बंधुआ जीवन का इतिहास यों भारत से कुछ सदी कम है मगर उनका गुलाम जीवन का सर्फडोम अनुभव बहुत त्रासद।
काम न करने का हक

काम न करने का हक

फ्रांसिसी लड़ रहे है। राष्ट्रपति और सरकार की नींद हराम हुई पडी है। उनका मुद्दा है कि हम आलसी हैं तो क्या हुआ।
चलती का नाम गाड़ी

चलती का नाम गाड़ी

सुश्री रीमा अपने ट्विटर पर वर्ल्ड हैप्पीनेस इंडेक्स पढ़ रही हैं और कुछ बुदबुदाती जा रही हैं। ‘फिनलैंड लगातार छठे साल नंबर वन।
2024 में भारत बिना विपक्ष का दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र?

2024 में भारत बिना विपक्ष का दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र?

सन् 2024 भारत का टर्निंग प्वाइंट है। दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र बिना विपक्ष के होगा। नोट रखें मेरी इस बात को कि सन् 2024 के लोकसभा चुनाव में...
विपक्षी पार्टियां हारेंगी या टूटेंगी!

विपक्षी पार्टियां हारेंगी या टूटेंगी!

भाजपा की पुरानी रणनीति है कि प्रादेशिक पार्टियों को या तो हरा कर खत्म करना है या तोड़ कर खत्म करना है।
बतौर प्रयोगशाला बिहार

बतौर प्रयोगशाला बिहार

भाजपा ने जो काम महाराष्ट्र में शिव सेना के साथ किया वही काम बिहार में नीतीश कुमार की पार्टी जदयू में करने की तैयारी थी।
एजेंसियों के जरिए टेंटुआ दबाना है

एजेंसियों के जरिए टेंटुआ दबाना है

कितने विपक्षी या पक्ष-विपक्ष से तटस्थ नेताओं की गर्दन पर केंद्र सरकार यानी प्रधानमंत्री और गृह मंत्री के पांव हैं।
एक और ‘आत्म निर्भरता’?

एक और ‘आत्म निर्भरता’?

अगर बात सिर्फ ‘आत्म निर्भर भारत’ जैसे जुबानी जमा-खर्च की ना हो, तो यह इरादा अच्छा है।
इधर जाएं या उधर!

इधर जाएं या उधर!

फैलते जा रहे बैंकिंग संकट के बावजूद अमेरिका के फेडरल रिजर्व ने ब्याज दर बढ़ाने का फैसला किया।
सचमुच, अभी नहीं तो कभी नहीं!

सचमुच, अभी नहीं तो कभी नहीं!

दुनिया को लास्ट वार्निंग जारी कर दी गई है। और यह हमारी धरती और हमारे लिए अच्छी खबर नहीं है।
भीड़ के लिए क्या जिंदगी, ‘मृत्यु’ और ‘मोक्ष’!

भीड़ के लिए क्या जिंदगी, ‘मृत्यु’ और ‘मोक्ष’!

कोई कितनी ही कोशिश करे, भारत की भीड़ को दुनिया से कनेक्ट करे, क्योटो और काशी में करार कराए, काशी को कितना ही आधुनिक बनाए, सब मिथ्या।
खुशी मापना एक गलत अवधारणा है!

खुशी मापना एक गलत अवधारणा है!

पता नहीं दुनिया की कोई भी एजेंसी खुशी को कैसे माप लेती है! खुशी कोई वस्तु नहीं है, जिसे किसी पैमाने से माप लिया जाए।
सुन भर लेने की चेतावनी

सुन भर लेने की चेतावनी

जलवायु परिवर्तन से संबंधित चेतावनियों से पहले भी कोई ज्यादा फर्क नहीं पड़ रहा था, लेकिन अब तक इनका महत्त्व बस सुन भर लेने लायक बचा है।
इरादा तो सही है

इरादा तो सही है

राजस्थान सरकार का स्वास्थ्य अधिकार का विधेयक सही दिशा में पहल है।
‘डिपार्चर लाउंज’ है मोक्ष!

‘डिपार्चर लाउंज’ है मोक्ष!

जिंदगी की आखिरी फील, उसका उपसंहार क्या? जवाब में सोचना होगा कि फील याकि बोध करने वाला कौन? व्यक्ति के सांस लेते हुए क्या उसके द्वारा जिंदगी पर उपसंहार...
रूस में शी और यूक्रेन में किशिदा के मायने

रूस में शी और यूक्रेन में किशिदा के मायने

यह थोड़ा अजीब सा था क्योंकि रपटों के अनुसार, दूसरे महायुद्ध के बाद पहला मौका है जब जापान के प्रधानमंत्री ने किसी युद्धरत देश की यात्रा की हैं।
पंजाब का घाव नासूर न बन जाए

पंजाब का घाव नासूर न बन जाए

खालिस्तान समर्थक कट्टरपंथी उपदेशक अमृतपाल सिंह का मामला केंद्र और पंजाब की सरकारों की लापरवाही का नमूना है।
संभल नहीं रहा संकट

संभल नहीं रहा संकट

अमेरिका में सिलिकॉन वैली बैंक (एसवीबी) के फेल होने से शुरू हुआ बैंकिंग संकट का दायरा फैलता ही जा रहा है।
वादा-खिलाफी के खिलाफ

वादा-खिलाफी के खिलाफ

किसान आंदोलन खत्म कराने के समय सरकार ने जो वादे किए थे, उन्हें पूरा नहीं किया। तो अब किसानों ने फिर संघर्ष छेड़ने का इरादा जताया है।
इराक की कोख से जन्मा यूक्रेन का युद्ध!

इराक की कोख से जन्मा यूक्रेन का युद्ध!

अगर आप दूसरों को बर्बाद करने पर उतारू हैं तो आप भी बर्बाद होने के लिए तैयार रहें। अगर आप दूसरों का खून बहाने के लिए आतुर हैं तो...
ममता, अखिलेश की दूरगामी राजनीति

ममता, अखिलेश की दूरगामी राजनीति

ममता और अखिलेश दोनों ने कांग्रेस पर निशाना साधा और कहा कि उसे बॉस की तरह बरताव नहीं करना चाहिए।
तो कांग्रेस ही राजनीति का मानदंड है!

तो कांग्रेस ही राजनीति का मानदंड है!

बरसों से विचित्र दृश्य है कि भाजपा एक ओर ‘कांग्रेस-मुक्त भारत’ की बात करती है, लेकिन दूसरी ओर कांग्रेस ही उस के सिर पर चढ़ी हुई आदर्श प्रतीत होती...